Monday, November 7, 2022
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    क्या है नेशनल हेराल्ड मनी लॉन्ड्रिंग केस? मामले में पूछताछ के लिए ED ने सोनिया गांधी को जारी किया है समन

    ED ने नेशनल हेराल्ड मनी लॉन्ड्रिंग केस में सोनिया गाँधी को एक बार फिर समन जारी किया है. ED ने सोनिया गाँधी को 21 जुलाई, 2022 को पेश होने को कहा है.

    प्रवर्तन निदेशालय ने कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को एक बार फिर समन जारी किया है. यह समन नेशनल हेराल्ड मनी लॉन्ड्रिंग मामले में पूछताछ के लिए जारी किया गया है. ED ने सोनिया गांधी को 21 जुलाई, 2022 को पेश होने को कहा है. वही, इससे पहले जब ED ने पूछाताछ के लिए नोटिस जारी की थी तब स्वास्थ्य कारणों का हवाला देते हुए सोनिया गांधी ने इसे पोस्टपोन करने का निवेदन किया था.

    21 जुलाई को होनी है पूछताछ

    गौरतलब है कि नेशनल हेराल्ड केस में 8 जून 2022 को सोनिया गांधी को पूछताछ के लिए ईडी ने बुलाया था, लेकिन कोरोना संक्रमित हो जाने के कारण सोनिया ने पूछताछ के लिए आगे की तारीख देने के लिए कहा. इसके बाद 23 जून को ही पूछताछ होनी थीं, उस दौरान वो स्वास्थ्य से जुड़ी समस्याओं की वजह से दिल्ली के एक अस्पताल में भर्ती थीं. ऐसे में अब 21 जुलाई को उनको पूछताछ के लिए ED के दफ्तर बुलाया गया है.

    क्या है नेशनल हेराल्ड मामला

    आपको बता दें कि नेशनल हेराल्ड अखबार की शुरुआत 1938 में हुई थी. ये कई बार शुरू हुआ और फिर बंद हो गया. 2008 में ये अखबार फिर से पूरी तरह बंद कर दिया गया था और अखबार का मालिकाना हक एसोसिएट जर्नल्स को दे दिया गया. इस कंपनी ने कांग्रेस से बिना ब्याज के 90 करोड़ रुपए कर्ज लिया, लेकिन अखबार फिर भी शुरु नहीं हुआ.

    भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने मामले को उजागर किया

    2012 में इसका मालिकाना हक यंक इंडिया को दे गिया गया. बता दें, इस कंपनी में 76 फीसदी हिस्सेदारी सोनिया और राहुल गांधी की थी. आरोप है कि यंग इंडिया ने हेराल्ड की संपत्ति को 50 लाख में हासिल किया, जबकि उसकी कीमत 1600 करोड़ के आसपास थी. भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने इस मामले को उजागर किया था. जिसके बाद यह मामला कोर्ट पहुंच गया था.

    ED ने शुरू की जांच

    2015 में इस मामले में ट्रायल कोर्ट ने सोनिया और राहुल गाँधी को जमानत दे दी थी. इसके बाद 2016 में सुप्रीम कोर्ट ने सोनिया गांधी, राहुल गांधी समेत आरोपितों को कोर्ट में पेश होने से छूट दे दी थी. हालाँकि, सुप्रीम कोर्ट ने मामले को रद्द करने से इनकार कर दिया था. अब मामले में ED ने फिर से जाँच शुरू की है.

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