उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को लोकभवन में मंत्रिपरिषद के सदस्यों की उपस्थिति में पीएम गति शक्ति योजना यानी ‘नेशनल मास्टर प्लान फॉर मल्टी-मॉडल कनेक्टिविटी प्लान’ की समीक्षा बैठक की. बैठक के दौरान सीएम योगी ने जरूरी दिशा-निर्देश दिए.
जमीनी स्तर पर काम में लाएं तेजी
सीएम योगी ने कहा कि पीएम गतिशक्ति के माध्यम से विभिन्न मंत्रालयों एवं विभागों की सभी वर्तमान तथा भावी कार्यवाहियों को एक केंद्रीयकृत पोर्टल में सम्मिलित किया जाएगा. क्रॉस-सेक्टोरल इंटरेक्शन के माध्यम से परियोजनाओं की प्राथमिकता तय होगी. मास्टर प्लान बनाने में सहायता मिलेगी साथ ही परियोजनाओं की रीयल टाइम मॉनीटरिंग भी संभव हो सकेगी. उन्होंने कहा, पीएम गतिशक्ति के सफल क्रियान्वयन से हमें ज़मीनी स्तर पर काम में तेज़ी लाने, लागत में कमी करने में मदद मिलेगी. यह रोज़गार पैदा करने पर ध्यान देने के साथ-साथ आगामी चार वर्षों में बुनियादी अवसंरचना परियोजनाओं की एकीकृत योजना और कार्यान्वयन भी सुनिश्चित करेगी.
सीएम योगी ने कहा कि मुख्य सचिव की अध्यक्षता में सचिव स्तरीय अधिकारियों का एक अधिकार प्राप्त समूह हो, जो लॉजिस्टिक्स दक्षता की जांच के लिए योजना के कार्यान्वयन की समीक्षा करेगा. साथ ही योजना में संशोधन हेतु निर्धारित फ्रेमवर्क एवं मानकों को अपनाने, उद्देश्यों को प्राप्त करने तथा पीएम गति शक्ति एनएमपी के मार्गदर्शक सिद्धांतों के लिए उचित दिशा-निर्देश जारी करने के सम्बंध में आवश्यक कार्यवाही करेगा. सीएम योगी ने कहा, इन्वेस्ट यूपी के मुख्य कार्यपालक अधिकारी की अध्यक्षता में एक टेक्निकल सपोर्ट यूनिट हो. यह इकाई आर्थिक विकास विशेषज्ञ, पीएमयू-लाजिस्टिक्स एवं सप्लाई चेन विशेषज्ञ आदि द्वारा तकनीकी एवं परियोजना प्रबंधन सेवा प्रदान करेगी. इस इकाई के लिए अलग-अलग विभागों से ऊर्जावान योग्य और दक्ष अधिकारियों का चयन कर प्रतिनियुक्त किया जाए.
परियोजनाओं को पोर्टल पर उपलब्ध कराएं- सीएम योगी
सीएम ने कहा कि पीएम मोदी के मार्गदर्शन में केंद्र सरकार द्वारा पूंजीगत निवेश के लिए राज्यों को विशेष सहायता योजना 2022-23 के तहत पीएम गति शक्ति से संबंधित व्यय के लिए 5,000 करोड़ रुपये रखे गए हैं. राज्य सरकार द्वारा इस योजना के तहत 900 करोड़ के प्रोजेक्ट का चयन कर लिया गया है. संबंधित प्रस्ताव केंद्र सरकार को तत्काल भेज दिया जाए. भारत सरकार के सहयोग से राज्य के अधिकारियों को क्षमता विकास का प्रशिक्षण दिया गया है. यह प्रशिक्षित अधिकारी अब अपने सहकर्मियों/अधीनस्थ कार्मिकों को प्रशिक्षित करें. प्रशिक्षण का यह क्रम सतत जारी रखा जाए. साथ ही सीएम ने कहा कि ₹50 करोड़ से ऊपर की चालू एवं भविष्य की परियोजनाओं को पोर्टल पर उपलब्ध कराया जाए. सभी विभाग परियोजनाओं के नियोजन के लिए अनिवार्य रूप से गतिशक्ति पोर्टल का ही प्रयोग करें.